राजनीति

Monsoon Session 2025: “मोदी जी जवाब दो” के नारों से गूंजी संसद, मॉनसून सत्र के पहले दिन विपक्ष ने किया जबरदस्त हंगामा, लोकसभा की कार्यवाही बार-बार स्थगित

Monsoon Session 2025: “मोदी जी जवाब दो” के नारों से गूंजी संसद, मॉनसून सत्र के पहले दिन विपक्ष ने किया जबरदस्त हंगामा, लोकसभा की कार्यवाही बार-बार स्थगित

नई दिल्ली: संसद के मॉनसून सत्र की शुरुआत बेहद हंगामेदार रही। सोमवार को जैसे ही लोकसभा की कार्यवाही शुरू हुई, विपक्षी दलों ने केंद्र सरकार के खिलाफ एकजुट होकर मोर्चा खोल दिया। पहलगाम आतंकी हमला, ऑपरेशन सिंदूर, अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के मध्यस्थता वाले बयान और बिहार में मतदाता सूची के स्पेशल इंटेंसिव रिवीजन (एसआईआर) जैसे मुद्दों को लेकर विपक्षी सदस्य बिफर उठे और ‘मोदी जी जवाब दो’ के नारे लगाते हुए सदन में भारी हंगामा किया।

सत्र की शुरुआत सुबह 11 बजे लोकसभा स्पीकर ओम बिरला के नेतृत्व में हुई। उन्होंने पहलगाम में हुए आतंकी हमले और अहमदाबाद में एयर इंडिया के प्लेन क्रैश में मारे गए लोगों को श्रद्धांजलि दी। साथ ही देश के कई हिस्सों में आई प्राकृतिक आपदाओं का उल्लेख करते हुए मौन रखवाया गया। उन्होंने अंतरिक्ष यात्री शुभांशु शुक्ला की सफलता का जिक्र करते हुए कहा कि इस सत्र में अंतरिक्ष से जुड़े विषयों पर चर्चा की जाएगी।

लेकिन जैसे ही प्रश्नकाल शुरू हुआ, विपक्षी सदस्य हंगामा करते हुए नारेबाजी पर उतर आए। वे सरकार से आतंकवाद, राष्ट्रीय सुरक्षा, अमेरिकी हस्तक्षेप, और बिहार में मतदाता सूची से जुड़ी कथित अनियमितताओं पर जवाब मांग रहे थे। लगातार विरोध और हंगामे के बीच स्पीकर ने बार-बार अपील की कि सदन को सुचारु रूप से चलने दिया जाए और प्रश्नकाल के बाद सभी विषयों पर चर्चा की जाएगी। बावजूद इसके विपक्ष अपनी मांगों पर अड़ा रहा।

हंगामे के बीच कॉरपोरेट मामलों के राज्य मंत्री हर्ष मल्होत्रा और खेल राज्य मंत्री रक्षा खडसे ने कुछ पूरक प्रश्नों के उत्तर दिए। लेकिन शोरगुल बढ़ने पर 11:20 बजे सदन की कार्यवाही दोपहर 12 बजे तक के लिए स्थगित कर दी गई। कार्यवाही दोबारा शुरू हुई तो स्पीकर की कुर्सी पर जगदंबिका पाल आए और कुछ आवश्यक दस्तावेज प्रस्तुत किए, लेकिन विपक्षी सांसद ‘मोदी जी जवाब दो’ के नारे लगाते हुए आसन के पास पहुंच गए।

स्पीकर पाल ने बताया कि कार्य मंत्रणा समिति (BAC) की बैठक आज होगी जिसमें सभी दल मिलकर यह तय करेंगे कि किन विषयों पर चर्चा होगी। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि सरकार सभी विषयों पर चर्चा को तैयार है, बशर्ते सदन की कार्यवाही सुचारु रूप से चलने दी जाए।

इस पूरे घटनाक्रम से साफ है कि मॉनसून सत्र की शुरुआत सत्तापक्ष और विपक्ष के बीच तीखी टकराहट के साथ हुई है। विपक्ष अब सरकार से हर मोर्चे पर जवाब मांगने की रणनीति में दिख रहा है, वहीं सरकार चाहती है कि बहस हो, लेकिन नियमों के तहत।

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